बॉलीवुड एक्टर इमरान खान ने बताया है कि आखिर उनके मामू आमिर खान अवॉर्ड फंक्शंस में क्यों नहीं जाते। हाल ही में जब उनसे एक इंटरव्यू में इस बारे में पूछा गया तो उन्होंने कहा, ‘मैं ऐसे परिवार के बीच बड़ा हुआ हूं जहां लोगों ने अपना सबकुछ आर्ट और क्राफ्ट को समर्पित कर दिया और किसी को सेलिब्रिटी होने और यहां के ग्लैमर से कोई फर्क नहीं पड़ता है। मुझे भी यही सिखाया गया है कि अपने काम को सीरियसली लो, अपना सबकुछ उसके लिए समर्पित कर दो और बाकी किसी चीज से प्रभावित मत हो। हम कला की नुमाइश नहीं करते हैं।’ आमिर ने 90s में छोड़ दिया था अवॉर्ड फंक्शन में जाना आमिर ने 90 के दशक में अवॉर्ड फंक्शन से दूरी बना ली थी। उन्होंने एक पुराने इंटरव्यू में खुद इसकी वजह बताते हुए कहा था कि उनके लिए ये कमर्शियल फिल्म अवॉर्ड्स कोई मायने नहीं रखते हैं।पिछले दिनों आमिर जब ‘द ग्रेट इंडियन कपिल शो में पहुंचे थे तो अर्चना पूरन सिंह ने आमिर से पूछा था कि वो अवॉर्ड लेने क्यों नहीं जाते हैं। इसके जवाब में आमिर ने कहा- क्योंकि वक्त बहुत कीमती है। मुझे लगता है कि वक्त का उपयोग सही जगह किया जाना चाहिए। आमिर ने प्रोड्यूस की थी इमरान की पहली फिल्म 2008 में रिलीज हुई इमरान की डेब्यू फिल्म ‘जाने तू या जाने ना’ भी मामा आमिर खान ने प्रोड्यूस की थी। इसके बाद दोनों ने 2011 में रिलीज हुई ‘देल्ही बेली’ में भी साथ काम किया था। ये दोनों ही फिल्में बॉक्स ऑफिस पर हिट रही थीं। बतौर चाइल्ड एक्टर भी इमरान, आमिर की दो फिल्मों ‘कयामत से कयामत तक’ और ‘जो जीता वोही सिकंदर’ में नजर आए थे।