जम्मू-कश्मीर के पर्यटन स्थल गुलमर्ग में एक पहाड़ी पर मौजूद 109 साल पुराना शिव मंदिर पूरी तरह आग से जल गया। इसमें कई बॉलीवुड फिल्मों की शूटिंग हुई थी। राजेश खन्ना-मुमताज का गाना ‘जय जय शिवशंकर’ यहीं फिल्माया गया था। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, आग बुधवार (5 जून) की सुबह लगी,थी। स्थानीय लोगों ने पुलिस की मदद से आग पर काबू पाया, लेकिन तब तक मंदिर पूरी तरह से जल चुका था। पुजारी ने कहा- शॉर्ट सर्किट से लगी आग
पुलिस के अनुसार, मंदिर में आग लगने से किसी के हताहत होने की कोई सूचना नहीं है। आग के कारणों का अब तक पता नहीं लग पाया है। मंदिर के पुजारी पुरुषोत्तम शर्मा के मुताबिक, आग शॉर्ट सर्किट की वजह से लगी है। पुलिस ने मामला दर्ज कर जांच-पड़ताल शुरू कर दी है। 23 साल तक मुस्लिम शख्स ने की मंदिर की देखभाल
90 के दशक में राज्य से कश्मीरी पंडितों के पलायन के बाद बारामुल्ला जिले के गुलाम मोहम्मद शेख ने 23 सालों तक इस मंदिर की देखभाल की थी। उन्हें सब प्यार से पंडितजी बुलाते थे। मोहम्मद शेख को मंदिर की देखरेख करने के लिए धर्मार्थ ट्रस्ट से मंथली सैलरी मिलती थी। पहले उन्हें चौकीदार के तौर पर मंदिर की जिम्मेदारी दी गई थी, लेकिन बाद में उन्होंने पूजा-पाठ, रीति-रिवाज सीख लिए और मुख्य पुजारी की गैरहाजिरी में पूजा-पाठ भी करते थे। 2021 में गुलाम मोहम्मद रिटायर हो गए थे। नवंबर 2023 से पुरुषोत्तम शर्मा मंदिर के मुख्य पुजारी के तौर पर काम कर रहे हैं। देखिए आग के बाद तबाह हुए मंदिर की तस्वीरें: इस मंदिर में हुई कई फिल्मों की शूटिंग
इस मंदिर में कई बॉलीवुड फिल्मों की शूटिंग हुई थी। 1974 में आई राजेश खन्ना-मुमताज की फिल्म ‘आपकी कसम’ का गाना ‘जय जय शिवशंकर’ भी यहीं फिल्माया गया था। इसके अलावा फिल्म ‘रोटी’, ‘अंदाज’ और ‘कश्मीर की कली’ जैसी फिल्मों की शूटिंग भी इस मंदिर में की जा चुकी है। उमर अब्दुल्ला ने जताया अफसोस
कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने मंदिर जलने की घटना पर अफसोस जताते हुए सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर लिखा, ‘गुलमर्ग के फेमस शिव मंदिर में आग लगने की खबर सुनकर बेहद बुरा लगा। उम्मीद करता हूं कि प्रशासन जल्द से जल्द आग लगने के कारणों का पता लगाकर मंदिर को दोबारा बनाएगा, क्योंकि ये मंदिर धार्मिक के साथ-साथ पर्यटन के लिहाज से भी बेहद महत्वपूर्ण है।’ 1915 में बनाया गया था मंदिर
भगवान शिव के इस मंदिर को जम्मू-कश्मीर के अंतिम डोगरा शासक महाराज हरि सिंह की रानी मोहिनी बाई सिसोदिया ने साल 1915 में बनवाया था। यही कारण है कि इसे मोहिनेश्वर शिवालय और रानी मंदिर के नाम से भी जाना जाता है।